Control of Jassids in Brinjal

बैंगन में जैसिड का नियंत्रण:-

  • शिशु एवं वयस्क कीट दोनों हरे रंग के एवं छोटे आकार के होते है।
  • शिशु एवं वयस्क, पत्तियों की निचली सतह से रस चूसते हैं ।
  • ग्रसित पत्तियां ऊपर की तरफ मुड़ जाती है जो बाद में पीली हो जाती है एवं उन पर जले हुये धब्बे बन जाते है ।
  • इनके द्वारा माइकोप्लाज्मा रोग जैसे लघु पर्ण एवं विषाणु रोग जैसे चितकबरापन स्थानांतरित होता है।
  • इस कीट के अत्यधिक प्रभाव देखे जाने पर पौधे में फल लगना कम  हो जाता है।

नियंत्रण:-

  • जेसिड की रोकथाम हेतु पौध रोपाई के 20 दिन बाद से  एसीटामिप्रिड 20% WP @ 80 ग्राम/एकड़ या इमिडाक्लोप्रिड 17.8%@ 80 मिली/ एकड़ दर से घोल बनाकर छिड़काव करें।

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