फसलों के तेज ग्रोथ और अच्छी उपज में लौह तत्व की होती है बड़ी भूमिका

  • लौह तत्व (Fe) जिसे आयरन के नाम से जाना जाता है दरअसल, फसल की तेज बढ़वार और अच्छी उपज प्राप्ति के लिए बेहद महत्वपूर्ण माना जाता है।

  • आयरन ऊर्जा का हस्तांतरण, नाइट्रोजन कटौती और स्थिरीकरण से जुड़े कई एंजाइमों का एक घटक है।

  • इसकी कमी आमतौर पर अधिक pH वाली मिट्टी में देखी जाती है क्योंकि ऐसी मिट्टी में लौह तत्व पौधे को उपलब्ध नहीं हो पाता।

  • आयरन की कमी के कारण नई पत्तियों में हरित लवक की कमी हो जाती है।

  • आयरन की कमी के कारण पत्तियाँ नीचे से हल्की-पीली, या चितकबरी रंग की होना शुरु हो जाती हैं, साथ ही ये चितकबरापन मध्य शिराओं के ऊपर व नीचे की ओर बढ़ने लगता है।

  • इसकी कमी को @150-200 ग्राम/एकड़ की दर से चिलेटेड आयरन का घोल बनाकर, छिड़काव करके दूर कर सकते हैं।

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