आज क्या रहे लहसुन के मंडी भाव, देखें मंदसौर मंडी का हाल

Mandsaur garlic Mandi bhaw,

वीडियो के माध्यम से देखें, मध्य प्रदेश के मंदसौर मंडी में आज क्या रहे लहसुन के भाव ?

वीडियो स्रोत: यूट्यूब

अब ग्रामोफ़ोन के ग्राम व्यापार से घर बैठे, सही रेट पर करें अपनी लहसुन-प्याज जैसी फसलों की बिक्री। भरोसेमंद खरीददारों से खुद भी जुड़ें और अपने किसान मित्रों को भी जोड़ें।

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ऐसे करे जीवाणु खाद से बीजोपचार, बरतें ये सावधानियां

Do seed treatment with bacterial fertilizers like this
  • यूरिया से 46% नाइट्रोजन प्राप्त होती है जबकि वातावरण में 78% नाइट्रोजन होती है। वातावरण की इस नाइट्रोजन को दलहनी फसलों में राइजोबियम जीवाणु व अन्य फसलों में एजोटोबैक्टर जीवाणु पौधों को उपलब्ध कराते है l

  • डीएपी, सिंगल सुपर फास्फेट उर्वरकों का फास्फोरस पौधों को उपलब्ध नहीं होता है। पी एस बी जीवाणु इस फास्फोरस को भी पौधों को उपलब्ध करा देता है।

जीवाणु खाद (कल्चर) के प्रकार:

  • एजोटोबैक्टर कल्चर: तिलहनी फसलों के लिए उपयोगी जैसे सरसों, तिल और अनाज जैसे गेहूँ, धान, मक्का आदि।

  • राइजोबियम कल्चर: दलहनी फसलों के लिए उपयोगी जैसे उड़द, मुंग, मूंगफली, ग्वार, सोयाबीन आदि।

  • पी एस बी कल्चर: सभी प्रकार की फसलों के लिए उपयोगी।

जीवाणु खाद (कल्चर) से बीजोपचार की विधि:
एक एकड़ के बीज को कल्चर से उपचारित करने हेतु 100 ग्राम गुड़ व आवश्यकतानुसार पानी गर्म करके घोल बनाएं। घोल ठंडा होने पर इसमें 250 ग्राम जीवाणु खाद मिलाएं। इस मिश्रण को एक एकड़ में बोये जाने वाले बीज में इस प्रकार मिलाएं कि बीजों पर एक सामान परत चढ़ जाए। बीजों को छाया में सुखाकर बुवाई करें।

सावधानियां:

  • फसल के अनुसार उपयुक्त कल्चर का प्रयोग करें।

  • कल्चर पैकेट को ठंडे एवं छायादार जगह पर रखें।

  • अंतिम प्रयोग तिथि से पहले ही कल्चर मिलाएं।

  • गुड़ का घोल ठंडा होने पर ही कल्चर मिलाएं।

  • उपचारित बीज को छाया में सुखाएं एवं उर्वरकों के साथ मिलाकर नहीं बोयें।

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हिंदी में भी होगी मेडिकल की पढ़ाई, मध्य प्रदेश के छात्रों को होगा लाभ

Medical studies will also be done in Hindi

हिंदी मीडियम से पढ़ने वाले छात्रों को कई बार समस्याओं का सामना करना पड़ता है। इसकी वजह है ज्यादातर उच्च शिक्षा अंग्रेजी माध्यम से दिया जाना। मेडिकल की पढ़ाई करने के इच्छुक छात्रों को भी इस समस्या का सामना करना पड़ता है। हालांकि मध्य प्रदेश सरकार ने यह निर्णय लिया है की अब हिंदी माध्यम से पढ़ कर आये छात्र भी मेडिकल की शिक्षा हिंदी माध्यम से ग्रहण कर सकते हैं। इसके लिए अंग्रेजी की अनिवार्यता ख़त्म करने का फैसला लिया गया है।

यह फैसला हिंदी दिवस के दिन लिया गया है। बताया जा रहा है की मेडिकल की पढ़ाई हेतु छात्रों के लिए हिंदी में सिलेबस तैयार की जायेगी। प्रदेश के चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग ने ये बातें बताई। उन्होंने कहा कि हिंदी में सिलेबस तैयार करने के लिए जल्द ही एक कमेटी बनाई जाएगी।

स्रोत: ज़ी न्यूज़

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आपकी जरूरतों से जुड़ी ऐसी ही अन्य महत्वपूर्ण सूचनाओं के लिए प्रतिदिन पढ़ते रहें ग्रामोफ़ोन के लेख और अपनी कृषि समस्याओं की तस्वीरें समुदाय सेक्शन में पोस्ट कर प्राप्त करें कृषि विशेषज्ञों की सलाह।

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मध्य प्रदेश के इन जिलों में हो सकती है बारिश, देखें मौसम पूर्वानुमान

Weather Update

मध्य प्रदेश के कुछ जिलों सहित महाराष्ट्र के कई भागों में बारिश जारी रहेगी। उत्तर-पश्चिम भारत से जल्द ही मानसून विदा होगा। उत्तर पूर्वी और दक्षिण भारत में मानसून सक्रिय रहेगा। बिहार झारखंड उड़ीसा और पश्चिम बंगाल में छिटपुट वर्षा की संभावना है।

स्रोत: स्काइमेट वेदर

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प्याज भाव ताबड़तोड़ तेजी का दौर जारी, देखें इंदौर मंडी का हाल

Indore onion Mandi Bhaw

वीडियो के माध्यम से जानें आज यानी 4 अक्टूबर के दिन इंदौर के मंडी में क्या रहे प्याज के मंडी भाव?

वीडियो स्रोत: यूट्यूब

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आज क्या रहे सोयाबीन के मंडी भाव, देखें मंदसौर मंडी का हाल

Mandsaur Mandi Soybean Rate,

वीडियो के माध्यम से देखें आज मंदसौर मंडी में क्या चल रहे हैं सोयाबीन के मंडी भाव ?

स्रोत: यूट्यूब

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लहसुन बाजार में आई तेजी, देखें मंदसौर मंडी में क्या रहे भाव?

Mandsaur garlic Mandi bhaw,

वीडियो के माध्यम से देखें, मध्य प्रदेश के मंदसौर मंडी में आज क्या रहे लहसुन के भाव ?

वीडियो स्रोत: यूट्यूब

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मिर्च की 120-150 दिनों की फसल अवस्था में ऐसे करें छिड़काव प्रबंधन

Spray management in chilli in 120-150 days
  • मिर्च की फसल 120-150 दिन में अपनी पूर्ण अवस्था में होती है, इस समय मिर्च की फसल में फल की तुड़ाई लगातार होती रहती है एवं साथ ही नए फूल भी आते रहते हैं।

  • इस समय पुष्प झड़न, फल सड़न एवं फल छेदक की समस्या मुख्यतः फसल में देखी जाती है। इनके प्रबंधन के लिए निम्न छिड़काव उपयोग में ला सकते हैं।

  • थायोफिनेट मिथाइल 70% W/W @ 300 ग्राम + पायरीप्रोक्सीफैन 10% + बॉयफैनथ्रिन 10% EC@ 250 मिली + क्लोरानट्रानिलीप्रोल 18.5% SC @ 60 मिली/एकड़ की दर से छिड़काव करें।

  • इस समय फसल को उचित पोषण की भी आवश्यकता होती है। इसके लिए 00:00:50 @ 1 किलो/एकड़ की दर से छिड़काव करें और जिब्रेलिक एसिड @ 300 मिली/एकड़ की दर से छिड़काव करें।

  • अपरिपक्व फूलों को गिरने से बचाने के लिए होमोब्रेसिनोलॉइड @ 100 मिली/एकड़ की दर से छिड़काव करें।

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मटर से मिलेगी अच्छी उपज, बुआई से पहले जरूर कर लें मिट्टी उपचार

soil treatment in pea
  • मटर की बुवाई से पहले मिट्टी उपचार अति आवश्यक होता है। मिट्टी जनित किसी भी प्रकार के कीट नियंत्रण के लिए बुवाई के पहले खाली खेत में 50- 100 किलो FYM के साथ मेटारीजियम @ 1 किलो कल्चर को मिलाकर खाली खेत में भुरकाव करें। इससे मिट्टी जनित कीटों के नियंत्रण में सहायता मिलती है।

  • इसके अलावा दूसरे आवश्यक तत्व यूरिया @ 25 किलो/एकड़ + डीएपी @ 20 किलो/एकड़ + एसएसपी @ 100 किलो/एकड़ + पोटाश @ 20 किलो/एकड़ की दर से बुवाई से पूर्व खेत में भुरकाव करें।

  • यह सभी तत्व मटर की बुवाई के समय अच्छे अंकुरण के लिए बहुत आवश्यक होते हैं। यह सभी मिट्टी उपचार के रूप में मटर की बुवाई के समय दिए जाते हैं।

  • इसके साथ ही ग्रामोफ़ोन की ‘मटर समृद्धि किट’ का उपयोग भी आप कर सकते हैं। इस किट में कई उत्पाद संलग्न हैं, जैसे पीके बैक्टीरिया का कंसोर्टिया, ट्राइकोडर्मा विरिडी, ह्यूमिक एसिड, समुद्री शैवाल, अमीनो एसिड एवं मायकोराइज़ा l

  • इन सभी उत्पादों को मिलाकर इस मटर समृद्धि किट को तैयार किया गया है। इस किट का कुल वज़न 3.5 किलो है जो एक एकड़ के लिए पर्याप्त है।

  • इसे बुवाई के पहले 50-100 किलो FYM के साथ इस किट को मिलाकर खाली खेत में भुरकाव करें। यह किट मटर की फसल को सभी जरूरी पोषक तत्व प्रदान करती है।

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शिवराज सरकार की बड़ी सौगात, महिला समूहों को मिले 250 करोड़ रुपये

women groups got Rs 250 crore

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पिछले दिनों शिवपुरी में आयोजित जन-कल्याण व सुराज अभियान में महिला सशक्तिकरण कार्यक्रम में उपस्थिति दर्ज कराई और महिला स्व-सहायता समूहों को बड़ी सौगात दी।

मुख्यमंत्री ने 20 हजार महिला स्व-सहायता समूहों को 250 करोड़ रुपये उपलब्ध करवाए। यह रकम बैंक ऋण के रूप में महिलाओं को वितरित किये गए। इसके अलावा बाढ़ पीड़ित लोगों को भी 163 करोड़ 28 लाख रुपये की मदद राशि दी गई। इस कार्यक्रम में करीब 10 हजार महिला स्व-सहायता समूह के सदस्यों ने उपस्थिति दर्ज करवाई।

स्रोत: ज़ी न्यूज़

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