टमाटर की खेती में फलों के फटने की समस्या बढ़ती जा रही है। फलों के पकने के समय यह समस्या अधिक होती है। फलों के फटने का कारण एवं इस पर नियंत्रण की उचित जानकारी नहीं होने के कारण इस समस्या से निजात पाना किसानों के लिए कठिन होता जा रहा है। फटे हुए फलों की बाजार में बिक्री भी नहीं होती है जिससे किसानों को भारी नुकसान होता है।
टमाटर के फलों के फटने का कारण
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सही समय पर सिंचाई नहीं करना
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बोरोन की कमी होने पर
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तापमान में बदलाव के कारण
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फूल अवस्था में अत्यधिक नाइट्रोजन का प्रयोग
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पोटाश की कमी से भी यह समस्या होती है
टमाटर के फलों को फटने से बचाने के तरीके
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मिट्टी में नमी बनाये रखें और इसके लिए एक निश्चित अंतराल पर सिंचाई करें।
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बोरोन की कमी की पूर्ति के लिए, खेत में प्रति एकड़ 3 से 4 किलोग्राम बोरेक्स का प्रयोग करें।
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पौधों में फूल आने के बाद यूरिया का प्रयोग कम करें। यूरिया की जगह पानी में घुलनशील एनपीके 19:19:19 उर्वरक का प्रयोग करें।
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पौधों की रोपाई से पहले, मुख्य खेत में पोटाश मिलाएं। इससे पौधों में पोटाश की कमी पूरी होगी और यह रोगप्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाएगा।
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2 ग्राम बोरोन 20% प्रति लीटर पानी में स्टीकर के साथ मिला कर प्रयोग करें।
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