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- प्याज़ के अच्छे उत्पादन के लिए रोपाई के 15 दिनों में पोषण प्रबंधन एवं छिड़काव प्रबंधन करना बहुत आवश्यक होता है।
- उचित तरीके से पोषक तत्व प्रबंधन करने से प्याज़ के पौधों द्वारा पोषक तत्वों का सही प्रकार से उपयोग किया जाता है एवं प्याज़ की फसल की जड़ें जमीन में अच्छे से फैल जाती हैं। इससे फसल में रोगों के प्रति प्रतिरोधी क्षमता भी उत्पन्न हो जाती है।
- यूरिया @ 30 किलो/एकड़ + सल्फर 90% @ 10 किलो/एकड़ की दर से मिट्टी में मिलाकर रोपाई से पहले खाली खेत में भुरकाव करें।
- यूरिया नाइट्रोज़न का स्रोत है साथ हीं सल्फर कवक जनित रोगों की रोकथाम के साथ ही साथ पोषक तत्व की पूर्ति करने में भी बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
- कीट के नियंत्रण के लिए फिप्रोनिल 5% SC @ 400 मिली/एकड़ की दर से छिड़काव करें।
- अच्छी फसल वृद्धि एवं जड़ों के जमीन में अच्छे फैलाव के लिए ह्यूमिक एसिड @ 100 ग्राम/एकड़ की दर से छिड़काव करें।
- कवक जनित रोगों के लिए कार्बेन्डाजिम 12% + मैनकोज़ेब 63% @ 300 ग्राम/एकड़ या थायोफिनेट मिथाइल 70% W/W @ 300 ग्राम/एकड़ की दर से छिड़काव करें।
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