खरीफ प्याज की फसल में पत्ती खाने वाली इल्ली की समस्या एवं नियंत्रण के उपाय

पत्ती खाने वाली इल्ली (स्पोडोप्टेरा) से फसल में लगभग 50% तक नुकसान देखा गया है, जिससे उपज में भारी कमी आती है। अंडे से निकले युवा लार्वा सतह को खुरच कर बाहर से खाते हैं। जैसे जैसे लार्वा की अवस्था बढ़ती जाती है, वे पत्तियों को खाते हुए अनियमित छेद कर देते है। जहां अधिक प्रकोप के स्थिति में पत्तियों को पूरी तरह से नष्ट कर देते हैं।

जैविक नियंत्रण के लिए, बवे-कर्ब (बवेरिया बेसियाना 5 % डब्ल्यूपी) @ 500 ग्राम प्रति एकड़, 150 -200 लीटर पानी के हिसाब से छिड़काव करें।

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खरीफ प्याज की फसल में रोपाई के 40-45 दिन की अवस्था में पोषक तत्व प्रबंधन

प्याज की फसल में पौधे के विकास के साथ साथ कंद विकास के लिए मुख्य पोषक तत्वों के अलावा सूक्ष्म पोषक तत्वों की भी आवश्यकता होती है। जो बीमारी, कीट एवं प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ाता है। मिट्टी में इन पोषक तत्वों की कमी होने से फसलों पर इसके लक्षण दिखने लगते हैं।

 पोषक तत्व प्रबंधन – प्याज की फसल में पौधों के अच्छे वृद्धि विकास के साथ – साथ कंद का आकार बढ़ाने के  लिए, यूरिया @ 30 किग्रा + एग्रोमिन (जिंक 5% + आयरन 2% + मैंगनीज 1% + बोरॉन 1% + कॉपर 0.5%) @ 5 किग्रा + कोरोमंडल जिंक सल्फेट @ 5 किग्रा, प्रति एकड़ के हिसाब से प्रयोग करें।

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