How to Control Downy Mildew in Cauliflower

  • उचित जल प्रबंधन करे ताकि मिट्टी की सतह पर अतिरिक्त नमी न रहे |
  • साफ़ (कार्बेन्डाजिम 12% + मैनकोजेब 63% WP) @ 300-400 ग्राम/एकड़ या 
  • रीडोमिल गोल्ड (मेटलैक्सिल-एम 4% + मैनकोजेब 64% WP) @ 300-400 ग्राम/एकड़
  • अमीस्टार (एज़ोक्सिस्ट्रोबिन 23% एससी)@ 200 मिली/एकड़ | 
  • नेटिवो (टेबुकोनाज़ोल 50% + ट्राइफ्लोक्सिरोबिन 25% WG) @ 120 ग्राम/एकड़ का छिड़काव किया जा सकता है।
  • फसल चक्र अपनाये एवं खेत में साफ़ सफाई रखे।

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Spacing for Cauliflower

  • किस्मों, भूमि के प्रकार व मौसम के अनुसार पौध अन्तराल निर्भर करती है।
  • पौध अन्तराल निम्नलिखित है।
  • अगेती किस्म:- 45 x  45 से.मी.
  • मध्य अवधि किस्म:- 60 x 40 से.मी.
  • पिछेती किस्म:- 60 x 60 से.मी. या 60 x 45 से.मी.

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Field Preparation for Cauliflower

  • 1 से 2 आड़ी खड़ी जुताई मिट्टी पलट हल से करने के बाद 3 से 4 जुताई देसी हल से करते है।
  • अधिक उपज देने के लिए अच्छी प्रजातियों का चुनाव करें।
  • जुताई के समय 20 से 25 टन गोबर की खाद प्रति हेक्टयर की दर से भूमि में मिलाना चाहिये ।  
  • यदि खेत में नेमाटोड का प्रकोप हो तो 10 किलो प्रति एकड़ की दर से कार्बोफ्यूरान कीटनाशक पावडर का छिड़काव करें।

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How to Control Downy Mildew in Cauliflower

  • उचित जल प्रबंधन करे ताकि मिट्टी की सतह पर अतिरिक्त नमी न रहे |
  • साफ़ (कार्बेन्डाजिम 12% + मैनकोजेब 63% WP) @ 300-400 ग्राम/एकड़ या 
  • रीडोमिल गोल्ड (मेटलैक्सिल-एम 4% + मैनकोजेब 64% WP) @ 300-400 ग्राम/एकड़
  • अमीस्टार (एज़ोक्सिस्ट्रोबिन 23% एससी)@ 200 मिली/एकड़ | 
  • नेटिवो (टेबुकोनाज़ोल 50% + ट्राइफ्लोक्सिरोबिन 25% WG) @ 120 ग्राम/एकड़ का छिड़काव किया जा सकता है।
  • फसल चक्र अपनाये एवं खेत में साफ़ सफाई रखे।

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What’re the Symptoms of Downy Mildew in Cauliflower

  • तनो पर भूरे दबे हुए धब्बे दिखाई देते हैं जिन पर फफूदी की सफेद मृदुरोमिल वृद्वि होती है।
  • पत्तियों की निचली सतह पर बैगनी भूरे रंग के धब्बे दिखाई देते है जिनमे भी मृदुरोमिल फफूदी की वृद्वि होती है।
  • इस रोग के प्रभाव से फूलगोभी का शीर्ष संक्रमित होकर सड़ जाता है।

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How to Control Cauliflower Diamondback moth:-

पहचान

  • अंडे सफ़ेद-पीले व हल्के हरे रंग लिये होते है|
  • इल्लियाँ 7-12 मिमी. लम्बी, हल्के पीले- हरे रंग की व पुरे शरीर पर बारीक रोयें होते है|
  • वयस्क 8-10 मिमी. लम्बे मटमैले भूरे रंग के व हल्के गेहुएं रंग के पतले पंख जिनका भीतरी किनारा पीले रंग का होता है|
  • वयस्क मादा पत्तियों पर एक एक कर या समूह में अंडे देती है|
  • इनके पखों के ऊपर सफेद धारी होती है जिन्हें मोड़ने पर हीरे जैसी आकृति दिखती है|

नुकसान

  • छोटी पतली हरी इल्लियाँ अण्डों से निकलने के बाद पत्तियों की बाहरी परत को खाकर छेद कर देती है |
  • अधिक आक्रमण होने पर पत्तियां पूरी तरह से ढांचानुमा रहा जाती है | 

नियंत्रण:- 

  • डायमण्ड बैक मोथ की रोकथाम के लिये बोल्ड सरसों को गोभी के प्रत्येक 25 कतारों के बाद 2 कतारों में लगाना चाहिये।
  • प्रोफेनोफ़ोस (50 ई.सी.) का 500 मिली/एकड़ या सायपरमेथ्रिन 4% ईसी + प्रोफेनोफॉस 40% ईसी @ 400 मिली/एकड़ की दर से घोल बना कर छिडकाव करें।
  • स्पाइनोसेड (25 एस.सी.) 100 मिली/एकड़ या ईंडोक्साकार्ब 300 मिली/एकड़ या इमामेक्टिन बेंजोएट @ 100 ग्राम/एकड़ पानी की दर से घोल बना कर छिड़काव करें। छिडकाव रोपण के 25 दिन व दूसरा इसके 15 दिन बाद करे।
  • जैविक नियंत्रण के लिए बेवेरिया बैसियाना @ 1  किलो/एकड़ | 
  • नोट :- हर स्प्रे के साथ स्टीकर अवश्य मिलाये | 

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Suitable varieties of Cauliflower

अच्छी किस्म सिर्फ अच्छी पैदावार ही नहीं बल्कि किसानो की कई समस्याओ को कम करती हैं जैसे अगर किस्मे किसी रोग के प्रति टॉलरेंस या सहिष्णु होती है तो किसानो का दवाओं एवं मजदूरो पर होने वाले खर्चे को कम करती हैं। गोबी की किस्मो का चुनाव करते समय हमें इस बात का विशेष तौर पर ध्यान रखना चाहिए की वह उस मौसम के लिए अनुकूल हो जिस समय आप उसे लगाना चाहते हैं। इसी बात को ध्यान में रखते हुए हम अभी आपको ऐसी दो किस्मो के बारे में बता रहे हैं जो अभी लगाने के लिए उपयुक्त मानी गई हैं |  

इम्प्रूव्ड करीना

यह जल्दी तैयार होने वाली किस्म हैं जो की बाजार के लिए उपयुक्त है इसकी बुवाई का उचित समय मई के पहले सप्ताह से अगस्त के आखरी सप्ताह तक हैं यह रोपाई 55-60 दिनों में तैयार हो जाती हैं इसकी पत्तिया मुड़ी हुई होती हैं तथा फूल का वजन 1.2 किलो के लगभग होता जिसका सफ़ेद हैं फूल गुम्बद के जैसा होता है | इसके लिए धूप अच्छी होती हैं |

सुपर फर्स्ट क्रॉप:-

मध्यम तापमान और जलवायु में समय पर बुवाई के लिए उपयुक्त किस्म हैं जिसे मार्च से अगस्त माह तक लगा सकते हैं यह सर्दियों में कठोर होता है और मध्यम तापमान पर भी अच्छे फूल का उत्पादन करता है सफ़ेद रंग का तथा संगठित फूल होता हैं जिसका वजन लगभग 800 ग्राम से 1 किलो तक होता हैं |फूल लगभग 60 दिनों में तैयार हो जाते हैं | लम्बी दूरी के बाजारों में पहुंचने के लिए यह किस्म अच्छी मानी जाती हैं |इसकी एक खासियत यह भी हैं की यहाँ ब्लैक रॉट रोग के प्रति सहिष्णु हैं |

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Suitable varieties of Cauliflower

अच्छी किस्म सिर्फ अच्छी पैदावार ही नहीं बल्कि किसानो की कई समस्याओ को कम करती हैं जैसे अगर किस्मे किसी रोग के प्रति टॉलरेंस या सहिष्णु होती है तो किसानो के दवाओं एवं मजदूरो पर होने वाले खर्चे को कम करती हैं। गोबी की किस्मो का चुनाव करते समय हमें इस बात का विशेष तौर पर ध्यान रखना चाहिए की वह उस मौसम के लिए अनुकूल हो जिस समय आप उसे लगाना चाहते हैं। इसी बात को ध्यान में रखते हुए हम अभी आपको ऐसी दो किस्मो के बारे में बता रहे हैं जो अभी लगाने के लिए उपयुक्त मानी गई हैं |  

इम्प्रूव्ड करीना

यह जल्दी तैयार होने वाली किस्म हैं जो की बाजार के लिए उपयुक्त है इसकी बुवाई का उचित समय मई के पहले सप्ताह से अगस्त के आखरी सप्ताह तक हैं यह रोपाई के 55 – 60 दिनों में तैयार हो जाती हैं इसकी पत्तिया मुड़ी हुई होती हैं तथा फूल का वजन 1.2 किलो के लगभग होता जिसका सफ़ेद हैं फूल गुम्बद के जैसा होता है | इसके लिए धुप अच्छी होती हैं |

सुपर फर्स्ट क्रॉप:-

मध्यम तापमान और जलवायु में समय पर बुवाई के लिए उपयुक्त किस्म हैं जिसे मार्च से अगस्त माह तक लगा सकते हैं यह सर्दियों में कठोर होता है और मध्यम तापमान पर भी अच्छे फूल का उत्पादन करता है सफ़ेद रंग का तथा संगठित फूल होता हैं जिसका वजन लगभग 800 ग्राम से 1 किलो तक होता हैं |फूल लगभग 60 दिनों में तैयार हो जाते हैं | लम्बी दूरी के बाजारों में पहुंचने के लिए यह किस्म अच्छी मानी जाती हैं |इसकी एक खासियत यह भी हैं की यहाँ ब्लैक रॉट रोग के प्रति सहिष्णु हैं |

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