जिस खेत या क्यारी में प्याज़ के बीज की बुआई की जानी उस खेत या क्यारी का बुआई पूर्व मिट्टी उपचार करना बहुत आवश्यक होता है।
मिट्टी उपचार करने से मिट्टी जनित कीटों एवं कवकों से पौध की रक्षा हो जाती है।
आपको पता होगा की फसलों के जो अवशेष खेत में रह जाते है उन अवशेषों में हानिकारक कवकों एवं कीटों के उत्पन्न होने संभावना बनी रहती है।
इन्हीं कवकों एवं कीटों के नियंत्रण लिए बुआई के पूर्व मिट्टी उपचार करना बहुत आवश्यक होता है। मिट्टी उपचार हम रासायनिक एवं जैविक दो विधियों से कर सकते हैं।
रासायनिक उपचार: फिप्रोनिल 0.3% GR@ 25 ग्राम/नर्सरी उपचारित करना चाहिए।
जैविक उपचार: FYM @ 10 किलो/नर्सरी और ट्रायकोडर्मा विरिडी @ 25 ग्राम/नर्सरी और सीवीड, एमिनो, मायकोराइज़ा@ 25 ग्राम/नर्सरी उपचारित करें।